सूना घर लगता है, लगता है सूना आँगन,
माँ तेरे जाने के बाद।
पलक बिछाए मेरा इंतजार अब कौन करेगा,
माँ तेरे जाने के बाद।
मन के भावों को चेहरे पर,
तुम बिना बताए पढ लेती थी।
छोटी-बडी सभी उलझनों को,
तुम झट से सुलझाया करती थी।
पोंछ पसीने को आँचल से,
स्नेह भरी पुचकार अब कौन करेगा,
माँ तेरे जाने के बाद।
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